Earthquake: अफगानिस्तान में भूकंप ने मचाई भारी तबाही, 600 से ज्यादा लोगों की मौत

Shweta Media
By
Shweta Media
श्वेता सिंह, मीडिया इंडस्ट्री में आठ साल का अनुभव रखती हैं। इन्होंने बतौर कंटेंट राइटर कई प्लेटफॉर्म्स पर अपना योगदान दिया है। श्वेता ने इस दौरान...
3 Min Read

काबुल। अफगानिस्तान, जो भारत का एक पड़ोसी देश है, वहां रविवार की देर रात शक्तिशाली भूकंप (Earthquake) के जोरदार झटके महसूस हुए। इस भूकंप ने अफगानिस्तान में व्यापक तबाही मचा दी, जिसके कारण दर्जनों मकान और इमारतें ढह गईं। राहत की खबर अब भी नहीं है क्योंकि यहां समय-समय पर आंशिक झटके भी सुनाई दे रहे हैं, जो महसूस किए गए हैं। इस त्रासदी में अब तक सैकड़ों लोगों के मौत की पुष्टि हो चुकी है और कई लोग घायल हैं।

इसे भी पढ़ें-Chamoli Cloudburst: उत्तराखंड के चमोली में फिर फटा बादल, मची तबाही; कई लोग लापता

भूकंप से प्रभावित क्षेत्रों में राहत एवं बचाव कार्य तेज़ी से जारी कर दिया गया है और पीड़ितों तक आवश्यक सहायता पहुंचाई जा रही है । भूकंप की तीव्रता इतनी भीषण थी कि कई मकान धराशायी हो गए और मलबे में बदल गए। इस हादसे में 600 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है, वहीं कई लोग गंभीर रूप से घायल हैं। इसके प्रभाव भूकंप के झटके पाकिस्तान और भारत तक भी महसूस किए गए। यूएसजीएस (यूएस जियोलॉजिकल सर्वे) के अनुसार, बीती रात अफगानिस्तान समेत दिल्ली-एनसीआर में भी भूकंप के हलचल महसूस की गईं। मापन के अनुसार इसका रिक्टर स्केल पर तीव्रता 6.0 थी।

उधर नांगरहार, अफगानिस्तान के क्षेत्रीय स्वास्थ्य विभाग के प्रवक्ता नकीबुल्लाह रहीमी ने भी एक शक्तिशाली भूकंप की पुष्टि की है। रहीमी के अनुसार भूकंप के जोरदार धक्कों से कई मकान ढह गए हैं। आरम्भ में नौ लोगों की मौत और पंद्रह लोगों के घायल होने की खबर सामने आई थी, लेकिन अब मौत का आँकड़ा संभवतः छः सौ तक पहुंच सकता है और दर्जनों लोग घायल हैं। घायलों का उपचार अस्पतालों में किया जा रहा है। USGS के अनुसार भूकंप का केंद्र जलालाबाद से लगभग 27 किलोमीटर उत्तर-पूर्व में, जमीन से आठ किलोमीटर नीचे दर्ज किया गया है। यह भू-चाल रविवार- सोमवार की मध्यरात्रि 12:47 बजे आया था। अफगानिस्तान के साथ-साथ पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में भी इसका एहसास हुआ।

भूकंप का सबसे अधिक प्रभाव नंगरहार और कुनार प्रांतों में दिखा। इन इलाकों में दर्जनों घर मलबे में तब्दील हो गए। स्थानीय अधिकारियों के अनुसार कुनार के मजार घाटी के कई गांव पूरी तरह से नेस्तनाबूत हो गए हैं। भूस्खलन और बाढ़ के कारण सड़कों पर मलबा जमा हो गया, जिससे राहत कार्य बाधित हुए। भूकंप का प्रभाव दिल्ली-एनसीआर तक भी महसूस किया गया। आधी रात को अचानक धरती हिली, जिससे कई लोग अपने घरों से बाहर निकल आए। लोगों के बीच डर फ़ैल गया, लेकिन अफगानिस्तान के मुकाबले दिल्ली-एनसीआर में झटके हल्के थे, इसलिए किसी जान-मान की हानि की सूचना नहीं मिली।

Share This Article
Follow:
श्वेता सिंह, मीडिया इंडस्ट्री में आठ साल का अनुभव रखती हैं। इन्होंने बतौर कंटेंट राइटर कई प्लेटफॉर्म्स पर अपना योगदान दिया है। श्वेता ने इस दौरान अलग-अलग विषयों पर लिखा। साथ ही पत्रकारिता के मूलभूत और जरूरी विषयों पर अपनी पकड़ बनाई। इन्हें महिलाओं से जुड़े मुद्दों को लेकर दिल से जुड़ाव है और इन्होंने इसे लेकर कई आर्टिकल्स लिखे हैं।
Leave a Comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *