Punjab Flood: पंजाब में बाढ़ से हाहाकार; पानी में डूबे 100 गांव, 7 सितंबर तक स्कूल-कॉलेज बंद

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श्वेता सिंह, मीडिया इंडस्ट्री में आठ साल का अनुभव रखती हैं। इन्होंने बतौर कंटेंट राइटर कई प्लेटफॉर्म्स पर अपना योगदान दिया है। श्वेता ने इस दौरान...
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Punjab Flood: पंजाब। उत्तर भारत में मानसून इस बार अपना रौद्र रूप दिखा रहा है। पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, हिमाचल, उत्तराखंड और जम्मू-कश्मीर में भारी बारिश ने जनजीवन को बुरी तरह प्रभावित किया है। कहीं बादल फटने से आई बाढ़ ने भारी तबाही मचाई है, तो कहीं बाढ़ ने लोगों का हाल बेहाल कर दिया है। पंजाब के सभी 23 जिलों बाढ़ जैसे हालात हैं। जिसके कारण तीन लाख से ज़्यादा लोग प्रभावित हैं। वहीं, इस भीषण बाढ़ (Punjab Flood) को देखते हुए पंजाब सरकार ने 7 सितंबर तक स्कूल-कॉलेजों बंद रखने का आदेश दिया है।

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उधर मौसम विभाग ने भी राज्य में बारिश का रेड अलर्ट जारी किया है। दरअसल पंजाब में इतिहास की सबसे भीषण बाढ़ से जूझ रहा है। लोगों के घर तबाह हो गए, फसलें बर्बाद हो गई, मवेशी मारे गए। साथ ही, लगभग 30 लोगों की जान चली गई। बाढ़ से बिगड़ते हालात को देखते हुए पंजाब सरकार ने स्कूलों की छुट्टियां बढ़ाने का फैसला किया है। पहले घोषणा की गई थी कि स्कूल 3 सितंबर तक बंद रहेंगे। अब यह समयसीमा बढ़ाकर 7 सितंबर कर दी गई है।

शिक्षा मंत्री हरजोत सिंह बैंस ने बाढ़ की स्थिति को देखते हुए पंजाब भर के सभी सरकारी और निजी स्कूल, कॉलेज, विश्वविद्यालय और पॉलिटेक्निक 7 सितंबर तक बंद रखने की अपील की है और सभी से अनुरोध किया है कि वे स्थानीय प्रशासन के दिशानिर्देशों का सख्ती से पालन करें। शिक्षा मंत्री ने यह भी स्पष्ट किया है कि छात्रावास में रहने वाले छात्रों के भोजन सहित पूरी व्यवस्था की जिम्मेदारी कॉलेज और विश्वविद्यालय की होगी। रूपनगर में मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि पंजाब के कई जिले बाढ़ प्रभावित हैं। इसके चलते पंजाब में सभी सरकारी और निजी स्कूल-कॉलेज 7 सितंबर तक बंद कर दिए गए हैं। अगर 8 सितंबर तक भी अगर बाढ़ के हालात नहीं सुधरे तो स्कूलों और कॉलेजों की छुट्टियां और भी आगे बढ़ाई जा सकती हैं। पंजाब के शिक्षा मंत्री ने कहा कि पंजाब के इतिहास में यह सबसे बड़ी बाढ़ आपदा है। बाढ़ पीड़ितों को जल्द से जल्द राहत कार्य पहुंचाने के लिए खुद मैदान पर हैं।

बता दें, हिमाचल प्रदेश और जम्मू-कश्मीर में भारी बारिश के कारण सतलुज, ब्यास और रावी नदियां उफान पर हैं। इसके अलावा भाखड़ा बांध के पीछे बनी गोबिंद सागर झील का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है। ऐसे में पंजाब के सभी जिलें भीषण बाढ़ की चपेट में है। हालांकि, सेना, एनडीआरएफ, बीएसएफ और पंजाब पुलिस द्वारा लोगों की मदद की जा रही है।

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श्वेता सिंह, मीडिया इंडस्ट्री में आठ साल का अनुभव रखती हैं। इन्होंने बतौर कंटेंट राइटर कई प्लेटफॉर्म्स पर अपना योगदान दिया है। श्वेता ने इस दौरान अलग-अलग विषयों पर लिखा। साथ ही पत्रकारिता के मूलभूत और जरूरी विषयों पर अपनी पकड़ बनाई। इन्हें महिलाओं से जुड़े मुद्दों को लेकर दिल से जुड़ाव है और इन्होंने इसे लेकर कई आर्टिकल्स लिखे हैं।
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